आखिर क्यों पीएम आवास किराए पर चढ़ाने को मजबूर हैं इमरान खान?
पाकिस्तान का इतिहास भारत से शुरू होता है, लेकिन यहां के शासकों की हरकतें उसके अपने इतिहास से जुदा करती है. पाकिस्तान में कुछ सालों से हो भी ऐसा ही रहा है. यहां सरकार किसी की भी हो वह इस देश का भला नहीं कर पाती.
highlights
- पाकिस्तान में पीएम आवास मिलेगा किराए पर!
- इमरान खान ने लिया फैसला!
- सरकार चलाने के लिए पैसे जुटाने का तरीका निकाला!
नई दिल्ली:
पाकिस्तान का इतिहास भारत से शुरू होता है, लेकिन यहां के शासकों की हरकतें उसके अपने इतिहास से जुदा करती है. पाकिस्तान में कुछ सालों से हो भी ऐसा ही रहा है. यहां सरकार किसी की भी हो वह इस देश का भला नहीं कर पाती. वह दूसरे देशों पर ज्यादा निर्भर रहती है. पहले विश्व की सबसे बड़ी महाशक्ति अमेरिका का पिछलग्गू बना हुआ था, लेकिन पाकिस्तान की कुछ हरकतों की वजह से अमेरिका ने पाक के सिर से अपना हाथ उठा लिया है, जिसकी वजह से आर्थिक गतिविधियों पर बहुत बड़ा असर पड़ा.
पाकिस्तान अब कुछ सालों से चीन की सहपरस्ती में या यूं कहे चीन के सहारे अपने देश को चला रहा है. खैर, लगता है चीन से भी मदद अब कम मिल रही है. तभी तो पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने अपने आवास को किराए पर देने का फैसला किया है. आप पाकिस्तान के रहनुमा के इस फैसले पर हैरान नहीं हुए होंगे. क्योंकि जब इमरान खान सरकार में आए थे, तब उन्होंने सरकार चलाने के लिए भैंसे, पुरानी सरकारी गाड़ियों और इमारतों की निलामी कर पैसे जुटाए थे. बहरहाल, ये तो इमरान खान के पैसे जुटाने की बात हो गई, लेकिन पीएम आवास किराए पर देंगे ये किसी के गले नहीं उतर रहा है.
For the time in Pakistan's history a Prime Minister is leading the accountability measures from PM's to make sure tax payers money is spent on public welfare and not on the luxury of rulers. #PMAusterityDrive pic.twitter.com/PAKNi2KFfn
— PTI (@PTIofficial) September 10, 2018
दरअसल, भारत में छपने वाली रिपोर्टों का आधार पाकिस्तान की अंग्रेज़ी वेबसाइट समा न्यूज़ में छपी एक खबर है. भारतीय मीडिया में इस ख़बर के साथ दावा किया गया है कि आर्थिक तंगी से जूझते हुए पाकिस्तान ने प्रधानमंत्री का आवास किराए पर देने का फैसला किया है. इस रिपोर्ट में यह दावा किया गया है कि कंसर्ट, फेस्टिवल, फैशन एंड कल्चरल इवेंट्स के आयोजन के लिए पीएम आवास को कम्युनिटी सेंटर के तौर पर इस्तेमाल करने को कैबिनेट की मंजूरी भी मिल चुकी है, लेकिन यह सच नहीं है.
बता दें कि इमरान ख़ान ने सादगी अभियान के लिए एक टास्क फोर्स के गठन की घोषणा भी की. प्रधानमंत्री आवास के अलावा सरकारी इमारतों की एक सूची तैयार की गई जिन्हें सार्वजनिक संस्थानों में तब्दील किया जाना है. इनमें रावलपिंडी और मरी स्थित पंजाब हाउस, लाहौर और कराची स्थित गवर्नर हाउस और सभी प्रांतों के मुख्यमंत्रियों का आवास शामिल है. हालांकि, इस योजना पर भी काम नहीं हो पाया है.
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